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सूरत में भीड़ ने कैसे राज्य प्रशासन को मुस्लिम विरोधी कार्यवाहियों के लिए मजबूर किया

- फ़ैक्ट फ़ाइंडिंग रिपोर्ट 
सूरत शहर के वरियावी बाज़ार मेन रोड पर वारियावी बाज़ार पुलिस चौकी है, इसी चौकी से 50 से 100 मीटर पर के पास गणेश पंडाल लगा हुआ था| गणेश पंडाल पर कथित रूप से 5-6 मुस्लिम बच्चे जिनकी उम्र 8 से 10 साल की है, एक ऑटो में आए, जिसका ड्राईवर हिन्दू था और उन्होने गणेश पंडाल पर पत्थर मारे, जो वहाँ रखे हुए ढ़ोल पर लगे| लोगों ने उन बच्चों को पकड़ कर पुलिस को सौंप दिया| पुलिस उन बच्चों को लेकर घटना स्थल के करीब वारियावी बाजार पुलिस चौकी ले जाने के बदले लगभग 250-300 मीटर दूर सय्यदपुरा पुलिस चौकी लेकर आई| इस घटना की FIR नंबर 11210061240446 तारीख 9-9-24 की दर्ज की गयी है, जिसमे बच्चो को आरोपी बनाया गया है ओर धारा BNS की धारा 189(1), 189(2),190,298,299 के तहत दर्ज की गयी है। 
इसी बीच सय्यदपुरा पुलिस चौकी पर हिंदुओं की भीड़ जमा होती गयी, जिनको हिन्दू समाज के नेताओं द्वारा फोन करके इकठ्ठा किया गया था| भीड़ लगातार बच्चों को भीड़ को सौंप दो, मियाओं के घरों पर बुलडोज़र चलाओ, पासा करो आदि चिल्ला रही थी| वहीं पर सूरत उत्तर के विधायक कांति बलर, महिला मोर्चा की नेता सेजल बेन, कॉरपोरेटर राकेश माली, आरती बेन पटेल, मेयर दक्षेश भाई मवाणी और अन्य नेता भी आ गए| वो माइक से भड़काऊ भाषण दे रहे थे| विधायक कांति बलर ने पुलिस की मौजूदगी में भीड़ को माइक से संबोधित करते हुए कहा “ કોઈ પણ મુસ્લિમ ને છોડવામાં નહીં આવે, હૂઁ તમારી સાથે છું, જે પકડાયા છે તેમણે છોડવામાં નહીં આવે, આ પત્થર મારો આપણે ચલાવી લેવાનો નથી, હૂઁ તમારી સાથે છું અને ભારતીય જનતા પાર્ટી તમારી સાથે છે” (किसी भी मुस्लिम को छोड़ा नहीं जाएगा, मैं आपके साथ हूँ, जो पकड़े गयें हें उनको छोड़ा नहीं जाएगा, हम ये पत्थर बाजी चलाएँगे नहीं, और हमको ये चलाना भी नहीं है”, इसके बाद उनके पास खड़े पुलिस के अधिकारी ने विधायक के कान में कुछ कहा| फिर विधायक ने कहा कि “बार बार किसी भी जगह पर पत्थर मारा किया है उसको सहन नहीं करना है, मैं तुम्हारे साथ हूँ भारतीय जनता पार्टी तुम्हारे साथ है),  विधायक और अन्य नेताओं के उकसाने वाले भाषण के बाद भीड़ ने वहाँ खड़ी हुई कार, ऑटो और मोटर साइकलों को तोड़ा उनको सड़क पर गिरा दिया, https://www.youtube.com/watch?v=nPhBN0HG1Nw और जलाया भी वहाँ खड़ी नाश्ता बेचने वाले ठेलों को तोड़ा| भीड़ बार बार शोर मचा रही थी के इन बच्चों को बाहर निकाल कर भीड़ को सौंप दो| बाद में भीड़ गयी और जाते हुए इन लोगों ने मुसलमानों के घरों और मस्जिद पर भी पत्थर मारे| जब भीड़ जमा हो रही थी तब मुस्लिम समुदाय के लोगों ने पुलिस अधिकारियों को फोन करके पुलिस बंदोबस्त करने का अनुरोध किया था, पुलिस आई तो लेकिन मूक दर्शक बनी रही|
सय्यदपुरा पुलिस चौकी के साथ साथ कतार गाम दरवाज़ा पर पटेल पाउभाजी के सामने ख़ैर टी सेंटर के पास खड़ी मुस्लिमों की गाड़ियों को भी भीड़ ने तोड़ा और जलाया| ये सब पुलिस कि मौजूदगी में हो रहा था|
इसी दौरान राज्य के गृह राज्यमंत्री श्री हर्ष संघवी घटना स्थल वरियावी बाज़ार पर आए और उन्होने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा के सूरत शहर के लोग जब सूरज की पहली किरण के दर्शन कर रहे होंगे से पहले आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा| 
इसके बाद पुलिस मुस्लिम विस्तार सय्यदपुरा में घुसी और रात के लगभग 2 बजे अल इलाफ़ अपार्टमेंट के मेन गेट को खेंच कर तोड़ा और फ्लैट्स के दरवाजों को तोड़कर घरों में घुसे, घर में मौजूद औरतों, बच्चों को गंदी गंदी गलियाँ दी, घर में मौजूद पुरुषों को पकड़ कर ले गए| इसके बाद वो रोशन पार्क अपार्टमेंट में छत पर जाने के बहाने से घुसे और बाद में घरों में घुस कार पुरुषों को मारते पीटते ले गए| घर की औरतों ने जब ले जाने की वजह पूछी तो गालियां दीं| इस दौरान पुलिस वाले सीसीटीवी के डीवीआर भी लूट के ले गए जिसमे उनकी करतूत रेकॉर्ड हुई थी|  पुलिस ने घटना का समय 8-9-24 को लगभग 9.45 रात का बताया है, पुलिस ने सभी लोगों को 9.9.24 को सुबह लगभग 2-3 बजे गिरफ्तार किया, लेकिन एफ़आईआर 9.9.24 को सुबह 6.30 को दर्ज की जिसका नंबर FIR नंबर 11210061240447  जिसमे ये लिखा गया है की मुसलमानो की भीड़ इकठ्ठा हुई ओर इनहोने तोड़ फोड़ की जबकि हम वीडियो मे साफ देख प रहें हैं कि हिन्दू धर्म के लोगों की भीड़ को नेताओं के द्वारा उकसाया जा रहा है, पहली FIR मे 27 मुस्लिम लोगों को नामजद किया गाय है ओर 200-300 की भीड़ लिखा गया है ओर FIR नंबर 11210061240448 जिसमे 70 से 80 की भीड़ द्वारा वाहनो में तोडफोड करने का आरोप लगाया गया है, इसमे कोई नामज़द आरोपी नहीं है, इस एफ़आईआर में 3 हिन्दू लोगों को पकड़ा ओर जमानत दे दी गयी। 
अगले दिन सुबह 9.9.24 को को गृह राज्य मंत्री महोदय, सूरत पुलिस के अधिकारीगण और कार्पोरेशन के अधिकारी उसी वरयावी बाज़ार पुलिस चौकी के पास वाले गणेश पंडाल में आरती करते हैं और उसके बाद सय्यदपुरा पुलिस चौकी के पास चाय नाश्ते के ठेलों व अस्थायी दुकानों को प्रशासन द्वारा बुलडोज़र से तोड़ दिया जाता है| 
पुलिस ने आरोपियों को 10 तारीख़ को शाम 4 बजे कोर्ट में पेश किया| इस दौरान पुलिस ने इन लोगों को बुरी तरह से मारा जिस वजह से लोग सही से चल भी नहीं पा रहे थे| इन आरोपियों के घर वालों से मिलने नहीं दिया गया| 

घटना के तथ्य 

  • घटना वारियावी बज़ार पुलिस चौकी के पास हुई तो बच्चों को सय्यदपुरा पुलिस चौकी क्यों लाया गया? 
  • कथित ऑटो जिसमे बच्चे आए थे उसका ड्राईवर हिन्दू था को गिरफ्तार क्यों नहीं किया गया|
  • घटना (वरियावी बाज़ार मेन रोड) जहां हुई वहाँ से अल इलाफ़ अपार्टमेंट जहां से घरों के दरवाजे तोड़कर लोगों को पकड़ा की दूरी लगभग 500 से 700 मीटर की है तो पत्थर बाज़ी के आरोप झूठे हैं|
  • लोगों को पहले रात के 2 बजे पकड़ा और एफ़आईआर 9.9.24 को सुबह 6.30 को दर्ज की से पता चलता है के मामला मुसलमानों को फँसाने के लिए बनाया गया है|
  • पकड़े गए सभी लोग निर्दोष है, वरना वो घरों पर क्यों मिलते|
  • अपार्टमेंट और रोड साइड के सीसीटीवी के डीवीआर ले जाने वाले पुलिस वालों पर कोई कार्यवाही नहीं की|
  • जिस पंडाल पर पत्थर मरने का आरोप हैं वो मेन रोड है वहाँ कोई निर्माणाधीन बिल्डिंग नहीं है तो पत्थर कहाँ से आए इसलिए ये मनगड़ंत कहानी है|
  • एमएलए जिसने पुलिस के सामने भड़काऊ भाषण दिया उसके विरुद्ध कोई कार्यवाही नहीं की|
  • सय्यदपुरा पुलिस चौकी पर किन किन लोगों ने भीड़ इकठ्ठा की पर कोई कार्यवाही नहीं की|
  • वहाँ खड़ी गाड़ियों में तोडफोड करने वाले जलाने वाले लोगों को गिरफ़्तार नहीं किया उन पर कोई गंभीर धारा में केस दर्ज नहीं किया |
  • भीड़ को जमा होने देने के लिए जिम्मेदार पर कोई कार्यवाही नहीं की|
  • गैर क़ानूनी रूप से पकड़े गए लोगों को बुरी तरह से मारने वाले पुलिस अधिकारी, कर्मचारियों पर कोई कार्यवाही नहीं की गयी|

इन तथ्यों के आधार पर हमारी मांग है कि  

  • जिस वक़्त पुलिस ने मुस्लिमों को पकड़ा उस वक़्त पर तो एफ़आईआर भी दर्ज नहीं हुई थी तो पुलिस किस अधिकार, आदेश से घरों में घुसी अनधिकृत रूप से घरों में घुसने वाले पुलिस कर्मियों पर एफ़आईआर दर्ज की जाए|
  • घरों के खिड़की दरवाजे तोड़ने वाले पुलिस वालों पर तुरंत एफ़आईआर दर्ज की जाए|
  • घरों में घुसकर औरतों बच्चों को गालियां देने वाले पुलिस वालों पर तुरंत एफ़आईआर दर्ज की जाए|
  • अपार्टमेंट और रोड साइड के सीसीटीवी के डीवीआर लूट कर ले जाने वाले पुलिस वालों पर तुरंत लूट की एफ़आईआर दर्ज की जाए|
  • सूरत उत्तर के भाजपा विधायक जिसने पुलिस के सामने भड़काऊ भाषण दिया उसके विरुद्ध तुरंत एफ़आईआर दर्ज कर गिरफ्तार किया जाए|
  • घटना वारियाली बज़ार पुलिस चौकी के पास हुई तो बच्चों को सय्यदपुरा पंपिंग स्टेशन पुलिस चौकी लाने की मंशा की जांच की जाए, कि कहीं ये मुसलमानों को जानबूझ कर परेशान करने के उद्देश्य से तो नहीं किया गया की जांच की जाए?
  • जिन हिन्दू समुदाय के नेताओं ने सय्यदपुरा पुलिस चौकी पर लोगों की भीड़ जमा की उनके मोबाइल की जांच करा कर उन पर भीड़ की हिंसा के तहत एफ़आईआर दर्ज की जाए| 
  • तोड़े, जलाए गए सभी वाहनों, लारियों और घर के खिड़की दरवाजे के मालिकों को मुआवजा दिया जाए|
  • गैर क़ानूनी रूप से पकड़े गए लोगों को बुरी तरह से मारने वाले पुलिस अधिकारी, कर्मचारियों पर एफ़आईआर दर्ज कर गिरफ़्तार किया जाए|
  • चूंकि घटना संदिग्ध है इसलिए निष्पक्ष जांच के लिए हाई कोर्ट के सिटिंग जज से पूरी घटना कि जांच कराई जाए|

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